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US तो पलकें बिछाकर कर रहा स्‍वागत, पर अपने देश में लग रहे विरोध में नारे, ऐसा क्‍या कर डाला इस राष्‍ट्रपति ने?

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अमेरिका की यह पुरानी नीति रही है कि वो सामरिक रूप से महत्‍वपूर्ण देशों के राष्‍ट्रपति व प्रधानमंत्रियों को स्‍टेट विजिट पर अपने देश में बुलाता है. भारत के पीएम नरेंद्र मोदी और मनमोहन सिंह को भी यह सम्‍मान मिल चुका है. मौजूदा वक्‍त में अफ्रीकी देश केन्‍या के राष्‍ट्रपति विलियम रुटो तीन दिवसीय स्‍टेट विजिट पर अमेरिका में हैं, जहां जो बाइडेन ने उन्‍हें सम्‍मानित किया. केन्‍या जैसे विकासशील देश के लिए यह काफी अहम पल हैं क्‍योंकि अमेरिका जैसा ताकतवर मुल्‍क उन्‍हें इतनी तवज्‍जो दे रहा है और उनके साथ आर्थिक और अन्‍य क्षेत्रों में समझौते भी कर रहा है. हालांकि इन सबके बावजूद केन्‍या के राष्‍ट्रपति विलियम रुटो की विजिट को लेकर अपने ही देश में इतना हंगामा क्‍यों हो रहा है. चलिए हम आपको इसके पीछे की कहानी के बारे में बताते हैं.

दरअसल, केन्‍या के लोग राष्‍ट्रपति विलियम रुटो की अमेरिका यात्रा से नाराज नहीं हैं, बल्कि उनकी नाराजगी की वजह यात्रा का तरीका है. केन्या के निजी केटीएन टीवी स्टेशन के अनुसार, इस यात्रा के लिए राष्‍ट्रपति ने एक लग्‍जरी प्‍लेन दुबई की रॉयल जेट कंपनी से किराए पर लिया है. इस प्‍लेन का किराया भारतीय करेंसी में 8.22 करोड़ रुपये है. सरकारी खर्च पर अतिरिक्‍त बोझ डालने के कारण केन्‍या के लोग राष्‍ट्रपति से नाराज हैं. इस प्‍लेन में अपने 30 सदस्‍यीय डेलिगेशन के साथ राष्‍ट्रपति अमेरिका पहुंचे हैं, जिसमें एक कमेडियन भी शामिल है.

केन्‍या सरकार ने क्‍या दी सफाई?
मामले ने तूल पकड़ा तो केन्‍या सरकार के प्रवक्ता इसहाक मावौरा की तरफ से इसपर बीबीसी से बातचीत के दौरान सफाई भी सामने आई. उन्‍होंने कहा, “इस यात्रा से होने वाला फायदा इस प्‍लेन के किराए के लिए दी गई कीमत से लाखों गुना ज्‍यादा है.” यह बीते दो दशकों में किसी भी केन्‍या के राष्‍ट्रपति की पहली अमेरिका की राजकीय यात्रा है.

क्‍यों भड़क गए केन्‍या के लोग?
केन्‍या के लोगों की नाराजगी की वजह लग्‍जरी प्‍लेन के अधिक किराए के साथ-साथ राष्‍ट्रपति रूटो की नीतियां भी हैं. दरअसल रूटो जब से सत्‍ता में आए हैं उन्‍होंने देश में आर्थिक सुधारों के नाम पर टैक्‍स दोगुने कर दिए हैं. पेट्रोल व डीजल जैसी चीजों के दोमों में बेतहाशा वृद्धि कर दी गई है. दूसरी तरफ अपने अमेरिकी दौरे के लिए बेवजह इतना खर्चा करने से लोगों का गुस्‍सा ओर भी बढ़ गया.