महाराष्ट्र में आगामी लोकसभा चुनाव में सत्ताधारी महायुति गठबंधन को मात देने की कोशिश में विपक्षी महाविकास आघाड़ी की एकता कमजोर पड़ती दिख रही है. शिवसेना (उद्धव गुट) और एनसीपी के शरद पवार गुट की जिद से परेशान होकर महाराष्ट्र कांग्रेस उन सीटों पर ‘फ्रेंडली फाइट’ यानी दोस्ताना मुकाबले के लिए तैयार है, जिनपर उद्धव और पवार गुट समझौते के लिए तैयार नहीं हो रही.
कांग्रेस की महाराष्ट्र इकाई के नेता नसीम खान ने कहा कि शिवसेना (यूबीटी) की तरफ से उम्मीदवारों की एकतरफा घोषणा करने से उनके पार्टी कार्यकर्ता नाराज हैं और इसलिए प्रदेश इकाई 6 लोकसभा सीटों पर ‘दोस्ताना मुकाबला’ करना चाहती है. खान ने शुक्रवार को कहा था, ‘हमने आज बैठक की और केंद्रीय नेतृत्व को यह बताने का निर्णय लिया कि छह सीट पर हमारा दोस्ताना मुकाबला है, जिनमें सांगली, मुंबई दक्षिण मध्य, मुंबई उत्तर पश्चिम और कुछ अन्य सीट शामिल हैं. शिवसेना (यूबीटी) ने कांग्रेस की दावेदारी वाली सीट पर जिस तरीके से अपने उम्मीदवारों की घोषणा की है उससे हमारे पार्टी कार्यकर्ता आक्रोशित हो गए हैं.’
‘फ्रेंडली फाइट से बीजेपी को मदद’
बता दें कि शिवसेना (यूबीटी) ने सांगली, मुंबई दक्षिण मध्य, मुंबई उत्तर पश्चिम सीट से अपने उम्मीदवारों की घोषणा की है, जबकि एनसीपी (शरद पवार गुट) भिवंडी पर दावा जता रही है. इस बीच, शिवसेना (यूबीटी) नेता संजय राउत ने कहा कि इस तरह के मुकाबले से भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) को मदद मिलेगी. उन्होंने एमवीए के सहयोगी दल पर तंज कसते हुए कहा, ‘कांग्रेस एक परिपक्व पार्टी है और मुझे नहीं लगता कि यह भाजपा को मदद पहुंचाने वाले ‘दोस्ताना मुकाबले’ की इजाजत देगी.’ राउत ने कहा कि सीट पर अब कोई चर्चा नहीं होगी.
शरद पवार गुट के वरिष्ठ नेता जयंत पार्टी ने भी कांग्रेस की इस प्लानिंग की आलोचना की है. उन्होंने कहा, ‘फ्रेंडली फाइट अच्छा नहीं है. हम इसे रोकने की पूरी कोशिश कर रहे हैं. महाविकास आघाड़ी में आज ही मैंने प्रकाश अम्बेडकर से मुलाकात की है, उनके साथ सही दिशा में चर्चा हुई है… हमारी कोशिश है कि VBA हमारे साथ आए…’
संजय निरुपम ने किया समर्थन
वहीं शिवसेना द्वारा सांगली सीट पर उम्मीदवार उतारे जाने से नाराज संजय निरुपम ने फ्रेंडली फाइट का समर्थन करते हुए कहा, ‘मैं काग्रेस नेतृत्व का आभारी हूं, उन्होंने कांग्रेस कार्यकर्ताओ के दर्द को सुना और समझा… 4 विवादित सीट पर फ्रेडली फाइट होनी चाहिए, मैंने सुना है कि ऐसा कोई प्रस्ताव आया है. ये प्रस्ताव बहुत अच्छा है, मैं इसका समर्थन करता हूं.’